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अभेद एव स्यात्...इति पाठं वर्णितम्... ........  ब्रह्मसूत्रशामरभाष्यकल्पतरुपरिमल (2|1|14 )  

अभेदं नोल्लिखन्ती धीर्न...इति... ........  अद्वैतरत्न (5 )  

अभेदो अपि न भेदो...भावरूपः... ........  ब्रह्मसूत्राणुभाष्यप्रकाश (3|2|28 )  

अभेदो...भेदविरुद्धसम्पद् भावरूपः... ........  अवतारवादावली भेदाभेदवाद ( )  

अमन्त्रिकातु कार्या इयं... ........  मनुस्मृति (2|66 )  

अयं निजः परो वेति गणना लघुचेतसाम् ........  सुभाषित ( )  

अयं प्रपञ्चो न...भगवद्रूपः... ........  तत्त्वार्थदीपनिबन्ध प्रकाश (1|23 )  

अयं यजमानः आयुः आशास्ते... ........  तैत्तिरीयब्राह्मण (3|5|10|4 )  

अयं वै हरयो...अनन्तानि च... ........  बृहदारण्यकोपनिषद् (2|5|19 )  

अयञ्च रसः सर्वभावप्रपत्त्येकलभ्यः... ........  टिप्पणीपूरकांश (10|26|16 )  

अयम् अर्थो देवासुरो मनुष्यो वाम... ........  तत्त्वार्थदीपनिबन्ध प्रकाशावरणभंग (2|232 )  

अयम् आत्मा अनन्तरो...प्रज्ञानघनएव... ........  बृहदारण्यकोपनिषद् (4|5|13 )  

अयम् आत्मा ब्रह्म विज्ञानमयः... ........  बृहदारण्यकोपनिषद् (4|4|5 )  

अयम् आत्मा ब्रह्म... ........  बृहदारण्यकोपनिषद् (2|5|19 )  

अयम् आत्मा सर्वेषां भूतानाम्... ........  बृहदारण्यकोपनिषद् (2|6|15 )  

अयाचिताहृतं ग्राह्यं... ........  याज्ञवल्क्यस्मृति (1|9|112-113 )  

अरुणया... क्रीणाति ........  तैत्तिरीयसंहिता (6|1|6 )  

अरूपवदेव हि...प्रकृतैतावत्त्वं हि... ........  ब्रह्मसूत्र (3|2|14-22 )  

अर्चादिषु यदा यत्र... ........  भागवतपुराण (11|27|48-49 )  

अर्चादौ अर्चयेद् तावद्... ........  भागवतपुराण (3|29|25 )  

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